ऊँट पर निबंध - Essay on Camel in Hindi

ऊंट एक ऐसा जानवर है जो रेगिस्तानी इलाकों में अधिकतर देखा जाता है। वह रेतीले मार्ग पर भी आसानी से चल सकता है और वह लंबे समय तक बिना पानी पिए भी जीवित रह सकता है, वह एक बार में ही लगभग 151 लीटर पानी पी लेता है। इस लेख में आप ऊँट पर निबंध - Essay on Camel in Hindi पढ़ने वाले हैं जिसमें ऊँट के बारे में जानकारियां दी गई है।

ऊँट पर निबंध - Essay on Camel in Hindi

ऊँट पर निबंध - Essay on Camel in Hindi

परिचय

ऊँट को रेगिस्तान का जहाज भी कहा जाता है क्योंकि ये रेगिस्तान में आसानी से चल सकता है। लोग ऊँट की सवारी करके रेगिस्तानी इलाकों में अपनी यात्रा से पूरी सकते हैं। यह एक बड़े शरीर वाला जानवर है जिसके लंबे पैर और लंबी गर्दन होती है जिस वजह से वह पेड़ों के पत्तों को आसानी से खा सकते हैं। ऊँट की दो बड़ी आँखें, एक मुंह, दो कान, चार पैर, लंबी गर्दन, एक छोटी पूँछ और पीठ पर एक बड़ा कूबड़ होता है। जो अरबी ऊँट होता है उसके पीठ पर एक कूबड़ और जो बैक्ट्रियन ऊंट होता है उसके पीठ पर दो कूबड़ होते हैं। इसकी लंबाई लगभग 9 - 10 फुट की होती है, बड़ा शरीर होने के चलते वह भारी भरकम चीजों को आसानी से ढोकर एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुंचा सकता है, इसकी इसी खूबी की वजह से लोग ऊँट की सवारी भी करते हैं। गांवों में भी ऊँट घुमाने लाते हैं जिसे देखने के लिए सभी एकत्र हो जाते हैं इस दौरान लोग उसकी सवारी करने के लिए उत्सुक रहते हैं।

ऊंट का भोजन क्या है?

ऊंट अपने भोजन के रूप में घास, पत्तियां, अनाज, पौधे फल फूल और झाड़ियां आदि खाता है। उसका मुंह सख्त होने के कारण वह आसानी से कांटेदार रेगिस्तान पौधे तथा झाड़ियां को खा लेता है। ऊंट लंबे समय तक पानी पिए बिना जीवित रह सकता है और जब वह पानी पीता है तो वह एक बार में 100 से 150 लीटर तक पानी पी सकता है। ऊंट को जब भोजन नहीं मिल पाता तो उसके पीठ में जो कूबड़ होता है उसमें एकत्रित वसा से उसे ऊर्जा मिलती रहती है।

ऊँट की विशेषताएँ 

यह एक ऐसा जानवर है जिसका शरीर बड़ा और ऊंचा होता है, उसके पैर लंबे और उसकी गर्दन भी लंबी होती है जिसके सहायता से वह ऊंचे झाड़ियों व् पेड़ों के हरी भरी पत्तियों को आसानी से खा लेता है। यह अद्भुत जानवर है जो हल्का भूरा रंग का होता है। ऊँटों के शरीर पर छोटे बाल भी होते हैं। इसका वजन 300 से 1,000 kg तक हो सकता है। ऊंट तपते और रेतीले रास्तों या मैदानों में भी, 21 दिनों तक पानी की एक बूंद पिए बिना, चलते रहने में सक्षम होता है। वह 6 महीने तक बिना पानी पिए जीवित रह सकता है और इससे उसके स्वास्थ्य पर कोई बुरा प्रभाव नहीं पड़ता। उसके पीठ में जो कूबड़ रहता है उसमें वसा जमा रहता है जो आवश्यकता पड़ने पर पानी और ऊर्जा में बदलकर उसके शरीर में ऊर्जा की आपूर्ति करते रहता है इसलिए वह इतने लंबे समय तक जल पिए बिना जीवित रहते हैं। एक चौका देने वाली बात है यह भी है कि यदि उसका वजन 40% से भी कम हो जाए तो भी वह आसानी से जीवित रह सकता है।

उसके चारों पैर गद्देदार होते हैं जो उसे आसानी से चलने फिरने में सहायक होते हैं। उसके बड़े आंखों को उड़ते धूल से सुरक्षा प्रदान करने के लिए, आंख के ठीक ऊपर बड़े - बड़े बाल होते हैं। आमतौर पर रेगिस्तानी इलाकों में तेज हवाओं के चलने से बहुत धूल उड़ाता है जिससे सामने का कुछ स्पष्ट रूप से दिखाई नहीं देता, लेकिन ऊंट के आंखों के ठीक ऊपर जो लंबे बाल होते हैं वह उसके आंखों को प्रोटेक्ट करने के साथ ही उसे आंधी तूफान में भी आसानी से देख पाने के लिए मददगार होते हैं। ऊंट के मुंह में 34 दांत होते हैं जिसकी सहायता से वह अपने आहार को चबाकर खाता है। यह शाकाहारी जानवर होने के कारण हरे पत्ते, अनाज, झाड़ियां आदि खाता है।

यह लोगों को उनकी मंजिल तक पहुंचाने का काम करता है, यह भारी सामान को ढोकर लंबी दूरी तय कर सकता है। ऊंट बुद्धिमान होता है साथ ही उसकी स्मरण शक्ति भी तेज होती है इसलिए अगर वह किसी रास्ते से एक बार गुजरता है तो वह रास्ता याद रखता है, और रेगिस्तान में भी बिना रास्ता भटके मंजिल तक पहुंच सकता है। मादा ऊँट जिसे ऊँटनी हैं वह दूध भी देती है जो सेहत के लिए फायदेमंद भी होता है तथा कई बीमारियों को ठीक कर सकता है। भारत के राजस्थान में देश के लगभग 85 % ऊंट पाए जाते हैं, इसके अलावा हरियाणा, उत्तर प्रदेश, गुजरात आदि राज्यों में ऊंट देखे जा सकते हैं। ऊंट आमतौर पर रेगिस्तानी इलाकों में देखे जाते हैं जो अकेले या समूह में नजर आते हैं। वह तेज धूप या अधिक तापमान वाले जगहों में भी रह सकते हैं। लंबे समय तक जल का सेवन न करने पर भी यह आराम से रह सकते हैं। ऊंट का जीवन काल 40 से 50 साल तक का होता है।

निष्कर्ष

ऊंट की जीवनशैली और उसकी विशेषताएं इसे अन्य जानवरों से अलग बनाती है। यह ऐसा जानवर है जो 6 से 7 महीने तक बिना पानी पिए रह सकता है। इसे विशेषकर रेगिस्तानी क्षेत्रों में देखा जाता है इसलिए इसे रेगिस्तान का जहाज भी कहते हैं। ऊँट एक शाकाहारी जानवर है और अपने आहार के रूप में पेड़ के पत्ते, कांटेदार डाल, झाड़ियां आदि खाकर अपना पेट भरता है। अभी के समय में देशभर में ऊंटों की संख्या में कमी आती जा रही है, राजस्थान, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, गुजरात आदि राज्यों में घटती ऊंटों की संख्या एक चिंता का विषय है, अतः इसके संरक्षण के लिए प्रयास करना जरूरी है।

FAQs - ऊँट से संबंधित अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

1. ऊंट कहाँ पाया जाता है?

उत्तर - विश्व में अलग-अलग स्थान में उठ पाए जाते हैं। भारत देश में सबसे ज्यादा ऊंट राजस्थान में पाए जाते हैं एल इसके अलावा ये अन्य राज्यों जैसे गुजरात, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश आदि राज्यों में भी पाए जाते हैं।

2. ऊंट के कितने दांत होते हैं?

उत्तर - जिस ऊंट की आयु 1 साल से 7 साल के आसपास होती है उनके मुंह में 34 दांत होते हैं।

3. ऊंट दिवस कब मनाया जाता है?

उत्तर - एक ऊंट एक बार में 100 से 150 लीटर पानी पी सकता है और लंबे समय तक बिना पानी पिए रह सकता है।

अंतिम शब्द

मित्रों इस आर्टिकल में आपने ऊँट पर निबंध - Essay on Camel in Hindi पढ़ा, जिसमें मैने ऊंट की विशेषताओं के बारे में जानकारी दी है, उम्मीद करता हूं आपको यह लेख जरूर अच्छा लगा होगा, नीचे कुछ निबंधों के लिंक दिए गए हैं उन्हें भी जरूर पढ़ें 👇👇👇

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